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अक्षय तृतीया और धनतेरस पर भारतीय सर्राफा बाजार की रौनक बढ़ जाती है, क्योंकि ये दोनों ही कीमती धातु की खरीदारी के त्योहार हैं। इस साल बुधवार को अक्षय तृतीया है। इस अवसर पर सोने की खरीदारी से पहले हॉलमार्क देखकर सोने की शुद्धता अवश्य परखें। खन्ना जेम्स प्राइवेट लिमिटेड के संस्थापक और प्रबंध निदेशक पंकज खन्ना कहते हैं कि सोने की खरीदारी करते समय हॉलमार्क देखना न भूलें, क्योंकि इसी से सोने की शुद्धता की पहचान होती है।
खन्ना ने कहा, "देश में सोने की सबसे ज्यादा खरीदारी धनतेरस और अक्षय तृतीया पर होती है। सोने की जितनी खरीदारी एक महीने में होती है, उससे ज्यादा इन दोनों त्योहारों पर होती है। अक्षय तृतीया के दिन सोना खरीदना काफी शुभ माना जाता है। लेकिन, कभी-कभी खरीदारी करते समय लोग सोने परखते नहीं हैं और धोखा खा जाते हैं।"
उन्होंने कहा, "शुद्ध सोना 24 कैरट का होता है। मगर, 24 कैरट के सोने से गहने नहीं बन पाते हैं। गहने बनाने के लिए 22 या 18 कैरट के सोने का इस्तेमाल होता है और 22 कैरट की कीमत 24 कैरट से कम होती। ज्वेलर से सोने की शुद्धता और कीमत जानकर उससे बिल पर जरूर लिखवाएं।"
पंकज के अनुसार, "कई बार लोग हॉलमार्क के निशान नहीं देखते हैं। अगर आप इसके बारे में नहीं जानते तो किसी सुनार से या खुद ऑनलाइन इसके बारे में पता कर सकते हैं। वहीं सोने के आभूषणों में नग लगे होते हैं। ऐसे में सुनार आपसे नग की कीमत भी वसूल करता है। जब भी नग लगे आभूषण खरीदें, तो सुनार से उन नगों का रत्ती के बारे में भी पूछें और शुद्धता का पैमाना जानने के बाद उसका सर्टिफिकेट भी लें। जानकार दुकानदार से ही सोना खरीदें।"